Monday 21 July 2014

विधानसभा चुनावों में भी होगी नमो-नमो

modi will be star campaigner in assembly elections

अपने दम पर भाजपा को केंद्र की सत्ता में काबिज करवाने वाले नरेंद्र मोदी आगामी विधानसभा चुनावों में भी पार्टी के स्टार प्रचारक होंगे। दरअसल कुछ राज्यों में होने वाले विधानसभा चुनावों के लिए पार्टी को कोई कद्दावर नेता नहीं मिल रहा है, इसी वजह से भाजपा एक बार फिर प्रधानमंत्री मोदी की ही शरण में होगी।

भाजपा के एक वरिष्ठ नेता के मुताबिक अगले छह महीने के अंदर जिन राज्यों में विधानसभा चुनाव होंगे, वहां प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ही सर्वाधिक मुखर और स्टार प्रचारक होंगे। पार्टी की योजना मोदी के सहारे आम चुनाव का ग्राफ बनाए रखने की है।


पार्टी नेतृत्व ने हरियाणा, झारखंड, महाराष्ट्र और जम्मू-कश्मीर में किसी को बतौर मुख्यमंत्री उम्मीदवार पेश नहीं करने का फैसला किया है। दिल्ली, जहां कि पार्टी सरकार बनाने या फिर चुनाव मैदान में उतरने के विकल्प पर फैसला करने के मामले में असमंजस है, वहां भी अगर पार्टी चुनाव मैदान में उतरती है तो किसी को भी बतौर भावी मुख्यमंत्री पेश नहीं करेगी। पार्टी सूत्रों के मुताबिक दरअसल यह निर्णय इन प्रदेशों में कोई एक सर्वमान्य चेहरा होने और कुछ अन्य तरह की समस्या सामने आने के कारण लिया जा रहा है।

modi will be star campaigner in assembly elections2

महाराष्ट्र में गोपीनाथ मुंडे के निधन के कारण पार्टी को बड़ा चुनावी झटका लगा है, तो हरियाणा, जम्मू-कश्मीर, झारखंड में पार्टी के पास कोई बड़ा और प्रभावी चेहरा ही उपलब्ध नहीं है। दिल्ली से भी डॉ हर्षवर्धन केंद्रीय मंत्रिमंडल में शामिल हो चुके हैं।

यही कारण है कि भाजपा नेतृत्व ने इन राज्यों में सामूहिक नेतृत्व का नया नारा देने का मन बनाया है। केंद्र की सत्ता पर अपने दम पर काबिज होने का करिश्मा कर दिखाने के बाद पार्टी नेतृत्व को जल्द ही इन राज्यों के विधानसभा चुनाव के रूप में पहली अग्नि परीक्षा देनी होगी।

पार्टी के एक वरिष्ठ नेता के मुताबिक पार्टी का इरादा झारखंड में किसी गैर आदिवासी को मुख्यमंत्री बना कर सूबे की अराजकता को खत्म करने की है। अगर पार्टी ने पहले से किसी गैर आदिवासी नेता का नाम मुख्यमंत्री पद के लिए आगे किया तो आदिवासी वोट बैंक के खिसकने का खतरा पैदा हो जाएगा। इसी प्रकार मुंडे के निधन के बाद महाराष्ट्र में पार्टी पास कोई सर्व स्वीकार्य चेहरा नहीं है। फिलहाल जो भी बड़े नेता हैं उन सभी का आधार एक क्षेत्र विशेष तक सीमित है। हरियाणा में पार्टी लोकसभा की 10 में से 7 सीट तो जीत चुकी है, मगर इस सूबे में पार्टी के पास तो जाट और ही गैर जाट बड़ा चेहरा है।


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